1985 में पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी ने अपने भाषण के दौरान कहा था कि सरकार अगर 1 रुपया भेजती है तो गरीबों तक 15 पैसे ही पहुंच पाते हैं और बाकी सब रसूखदारों के पेट में चला जाता है. हाल ही में पश्चिम बंगाल पीएम आवास योजना में हुए घोटाले की जानकारी सामने आई है जिस पर अब लोगों ने सवाल करना शुरू कर दिए हैं.
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक पीएम आवास योजना की लिस्ट में ऐसे लोगों का नाम शामिल हैं जिनके पास बहुमंजिला इमारतें मौजूद है। स्थानीय लोगों द्वारा जब इस बारे में हल्ला मचाया गया तो जांच पड़ताल की गई और यह भी सामने आया कि राज्य सरकार को यह पहले से ही पता चल चुका था लेकिन इसे अनदेखा किया गया। लाभार्थियों के लिस्ट में एक ही परिवार के 8 लोगों को शामिल कर दिया गया लेकिन इन चीजों पर भी ध्यान नहीं दिया गया।
पश्चिम बंगाल की पीएम आवास योजना में हुए इस घोटाले के बारे में अधिकारियों को हैरान होने की बिल्कुल भी जरूरत नहीं है क्योंकि यह सारा काम उनकी ही निगरानी में हो रहा था। इस मामले में राज्य द्वारा केंद्र को पत्र भी लिखा गया था। यह पत्र केंद्र द्वारा राजनीतिक गतिरोध के बीच 8 महीने तक रुके हुए काम को फिर से शुरू किए जाने के संबंध में था। इसमें करप्शन करने वाले लोगों के खिलाफ जीरो टॉलरेंस नीति अपनाने के निर्देश भी दिए गए थे लेकिन इस दिशा में कोई कदम नहीं उठाया गया। इस लिस्ट में कई ऐसे लोगों के नाम शामिल हैं जिनके पक्के मकान है लेकिन वो पीएम आवास योजना का लाभ चाहते हैं।